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कनाडा में खालिस्तानी हरकत पर विपक्षी नेताओं की चुप्पी पर किरण रिजिजू ने सवाल उठाया

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नई दिल्ली, 5 नवंबर . केन्द्रीय मंत्री किरण रिजिजू ने विपक्षी नेताओं पर कनाडा में हिन्दू मंदिर पर खालिस्तानियों के हमलों की अबतक निंदा नहीं किए जाने को ‘अविश्वसनीय’ बताया है. उन्होंने कहा कि भले वे हिन्दू नहीं हैं लेकिन हम सभी को एकजुट होना चाहिए.

किरण रिजिजू ने प्रधानमंत्री की इस हमले की कड़ी निंदा किए जाने वाला एक्स पोस्ट साझा करते हुए कहा कि यह अविश्वसनीय है.! एक हिंदू मंदिर पर हमला हो रहा है और विपक्ष के नेताओं की ओर से निंदा का एक शब्द भी नहीं आया है. मैं भले हिंदू नहीं हूं लेकिन हम सभी को एकजुट होना चाहिए.’ दोषी कौन है? नेताओं की बहरा कर देने वाली चुप्पी या उनकी जो उन्हें महान भारत का नेता मानते हैं?

कल रिजिजू ने सभी से अपील की थी कि कनाडा में हिंदू मंदिर पर हुए घृणित हमले की निंदा करने में प्रत्येक भारतीय को प्रधानमंत्री के साथ शामिल होना चाहिए. यह कुछ नेताओं के लिए परीक्षा की घड़ी है, परीक्षण काल है.. भारत के हकदार नेताओं की निंदा का इंतजार है.

वहीं, कांग्रेस प्रवक्ता पवन खेड़ा ने हमले की निंदा करते हुए बयान जारी किया है. उन्होंने कहा कि कनाडा में ब्रैम्पटन में एक मंदिर के बाहर श्रद्धालुओं के साथ हुई घटना निंदनीय है. हम भारत सरकार से इस मुद्दे को कनाडाई अधिकारियों के साथ दृढ़ता से उठाने का आग्रह करते हैं. उन्होंने कहा कि किसी को भी भक्तों को मंदिर में जाने से रोकने की अनुमति नहीं दी जा सकती. श्रद्धालुओं को खालिस्तानी समर्थक तत्वों द्वारा परेशान किया गया और कनाडाई पुलिस ने खालिस्तानी समर्थकों के बजाय श्रद्धालुओं को विरोध जताने से रोकने की कोशिश की. हमें उम्मीद है कि भारत सरकार इस मामले को बहुत मजबूती से उठाएगी.

उल्लेखनीय है कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कल कनाडा के ब्रैम्पटन में हिन्दू मंदिर पर हुए हमले की कड़ी निंदा की थी. उन्होंने उम्मीद जताई है कि कनाडा सरकार न्याय सुनिश्चित करेगी. साथ ही उन्होंने कहा है कि हिंसा के ऐसे कृत्य भारत के संकल्प को कभी कमजोर नहीं कर सकते.

टोरंटो के पास ब्रैम्पटन में हिंदू सभा मंदिर के साथ मिलकर आयोजित वाणिज्य दूतावास शिविर के बाहर भारत विरोधी तत्वों ने रविवार 3 नवंबर को हिंसक व्यवधान पैदा किया था. 2-3 नवंबर को वैंकूवर और सरे में आयोजित इसी तरह के शिविरों को भी बाधित करने का भी प्रयास किया गया था.

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/ अनूप शर्मा

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