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एयरक्राफ्ट कैरियर, 90 फाइटर जेट्स, बॉम्बर्स, 6000 जवान... परमाणु वार्ता फेल होते ही ईरान पर हमला? अमेरिका ने चारों तरफ से घेरा

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तेहरान: मध्य पूर्व की उथल-पुथल भरी धरती एक बार फिर हथियारों की गर्जना से गूंज रही है। अमेरिका ने अब ईरान के खिलाफ जो सैन्य तैनाती शुरू की है, वह सिर्फ एक सामान्य डिफेंस स्ट्रैटजी नहीं, बल्कि ये एक चेतावनी है। अमेरिका ने जिस तरह से ईरान को घेरा है, उससे साफ पता चलता है कि ईरान अब अमेरिका को हल्के में नहीं ले सकता है। B-2 स्टील्थ बॉम्बर्स से लेकर फुल कैपेबिलिटी एयरक्राफ्ट कैरियर्स और साइप्रस से लेकर इजरायल तक... जिस तरह का मिलिट्री कॉर्डिनेशन अमेरिका ने तैयार किया है, वो साफ साफ शब्दों में बताता है कि अमेरिका अब सिर्फ धमकी देने के मूड में नहीं है। अमेरिका ने ईरान से बातचीत से पहले जिस तरह से इस क्षेत्र में विशालकाय विनाशक फोर्स भेजा है, उससे आशंका बनती है कि अगर ये बातचीत फेल हो जाती है तो फिर क्या होगा?अमेरिका ने हिंद महासागर के डिएगो गार्सिया द्वीप में बी-2 स्टेल्थ बॉम्बर्स के 6 यूनिट तैनात कर दिए हैं। इसके अलावा इजरायल की रक्षा के लिए अमेरिकी THAAD एयर डिफेंस सिस्टम को तैनात कर दिया गया है और इतना सब करने के बाद अब अमेरिका ने अपने दूसरे एयरक्राफ्ट कैरियर को भी मिडिल ईस्ट की तरफ रवाना कर दिया है। ynetnews की रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी एयरक्राफ्ट कैरियर USS Carl Vinson मिडिल ईस्ट के करीब पहुंच चुका है। इसमें 90 फाइटर जेट्स और 6000 से ज्यादा चालक दल के सदस्य हैं। इसके अलावा एक और एयरक्राफ्ट कैरियर USS Harry S. Truman मिडिल ईस्ट में पहले ही तैनात है। ओमान में आज ईरान और अमेरिका की बैठकपरमाणु समझौते को लेकर अमेरिका और ईरान के अधिकारियों के बीच आज ओमान में बैठक होने वाली है। वहीं ईरानी के सरकारी टीवी चैनल ने शुक्रवार सुबह घोषणा की थी कि ईरानी उप विदेश मंत्री अब्बास अराघची और अमेरिकी विशेष दूत स्टीव विटकॉफ के बीच ओमान में शनिवार की बैठक की कोई भी तस्वीर जारी नहीं की जाएगी। जिससे ये संकेत मिलते हैं कि ये बैठक आमने-सामने की बातचीत वास्तव में हो सकती है। जिससे पहले ईरान ने इनकार कर दिया था। ईरानी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता इस्माइल बाघई ने कहा कि "हम कूटनीति को एक वास्तव में एक मौका दे रहे हैं।" उन्होंने कहा कि "तनाव के बावजूद अमेरिका को इस फैसले की सराहना करनी चाहिए। हम पहले से कोई निर्णय नहीं ले रहे हैं, हम शनिवार को दूसरे पक्ष के इरादों का आकलन करने का इरादा रखते हैं।" वहीं, ईरान के सुप्रीम लीडर अली खामेनेई के वरिष्ठ सलाहकार अली शमखानी ने एक्स पर जोर देकर कहा कि वार्ता प्रत्यक्ष नहीं है। उन्होंने कहा कि "विदेश मंत्री के पास संयुक्त राज्य अमेरिका के साथ अप्रत्यक्ष वार्ता के लिए पूर्ण अधिकार है। हम एक वास्तविक और निष्पक्ष समझौते की तलाश कर रहे हैं। व्यावहारिक प्रस्ताव मेज पर हैं।" ईरान और अमेरिका में कम होगा तनाव?एक डिप्लोमेटिक सूत्र ने सऊदी अरब के मीडिया आउटलेट अल-हदथ को बताया है कि हूती विद्रोहियों के खिलाफ चल रहे अमेरिकी अभियान के बीच, जिन्हें ईरान का समर्थन हासिल है, "ईरान इस क्षेत्र में अपने मिलिशिया के मुद्दे पर चर्चा करने के लिए तैयार है।" सूत्र के मुताबिक "ईरान का मानना है कि उसके मिलिशिया अपने उद्देश्यों को पूरा करने में नाकाम रहे हैं और अब वह कम से कम अपने मिसाइल कार्यक्रम की सुरक्षा करना चाहता है।" दूसरी तरफ डोनाल्ड ट्रंप ने आज होने वाली बैठक से पहले चेतावनी दी ही कि अगर परमाणु मामले पर कोई प्रगति नहीं होती है तो सैन्य कार्रवाई की संभावना बनी हुई है, अमेरिका इस क्षेत्र में अपनी स्ट्राइक क्षमताओं को काफी हद तक मजबूत कर रहा है। नई सैटेलाइट तस्वीरों में यूएसएस कार्ल विंसन को मलक्का जलडमरूमध्य के माध्यम से हिंद महासागर में प्रवेश करते हुए दिखाया गया है। यह यूएसएस हैरी एस. ट्रूमैन को ज्वाइन करने वाला है, जो पहले से ही मध्य पूर्व में तैनात है। दोनों एयरक्राफ्ट कैरियर में 90-90 फाइटर जेट्स और हेलीकॉप्टर का बेड़ा है, जिसमें लगभग 6,000 कर्मचारी सवार होते हैं। अमेरिकी सैन्य सूत्रों के मुताबिक इजरायल और ग्रीस के साथ अमेरिका लगातार कॉर्डिनेशन में है। अमेरिका ने थिएटर हाई एल्टिट्यूड एरिया डिफेंस (THAAD) सिस्टम तैनात किया है, जो बैलिस्टिक मिसाइल हमले को नाकाम कर सकता है। पूरी ताकत के साथ पहुंचे हैं अमेरिकी एयरक्राफ्टकार्ल विंसन स्ट्राइक ग्रुप में F-35C स्टील्थ फाइटर जेट, F/A-18 के दो स्क्वाड्रन, EA-18G इलेक्ट्रॉनिक युद्धक विमान, E-2 हॉकआई एयरबोर्न कमांड और कंट्रोल प्लेन और MH-60R/S हेलीकॉप्टर शामिल हैं। इसके अलावा इस समूह में मिसाइल क्रूजर प्रिंसटन और विध्वंसक स्टेरेट भी शामिल हैं। अमेरिका के एक अधिकारी ने अल अरबिया को बताया कि F-35 को पहले ही इस क्षेत्र में देखा जा चुका है और कार्ल विंसन के आने वाले दिनों में ऑपरेशन शुरू करने की उम्मीद है और ये ऑपरेशन संभवतः ईरानी तट के पास होगा। वहीं हैरी एस. ट्रूमैन स्ट्राइक ग्रुप में F/A-18s, EA-6 इलेक्ट्रॉनिक युद्धक विमान, E-2 कमांड प्लेन, S-3 पनडुब्बी रोधी विमान और ब्लैक हॉक हेलीकॉप्टर भी शामिल हैं। ये सामरिक बमवर्षक विमान, जो छिपकर उड़ान भरने के लिए डिजाइन किए गए हैं और ये परमाणु हथियार और 12 टन के विशाल "बंकर बस्टर" दोनों को ले जा सकते हैं।
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