
पटना। बिहार पर केंद्र की मोदी सरकार मेहरबान है। केंद्र सरकार की ओर से एक के बाद एक बिहार को बड़ी सौगात दी जा रही है। इसी बीच बिहार को एक और बड़ी सौगात रेलवे की ओर से दी गई है। दरअसल, जल्द ही बिहार को दूसरी अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेन मिलने जा रही है। यह रेल यात्रियों के लिए एक और बड़ी सौगात तय मानी जा रही है। राज्य को दूसरी अमृत भारत एक्सप्रेस ट्रेन मिलने जा रही है जो सहरसा से अमृतसर के बीच संचालित होगी।
बिहार पहुंचा वंदे भारत ट्रेन का रैक
इस ट्रेन को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 24 अप्रैल को मधुबनी में आयोजित कार्यक्रम से वर्चुअल माध्यम से हरी झंडी दिखाकर रवाना करेंगे। जानकारी आनुसार चेन्नई के अन्नानगर यार्ड से ट्रेन का रैक बिहार पहुंच चुका है। जिसे फिलहाल सुपौल स्टेशन पर रखा गया है। इससे पहले, बीते वर्ष दरभंगा से दिल्ली के आनंद विहार के लिए पहली अमृत भारत ट्रेन चलाई गई थी। यह नई सेवा पूर्व मध्य रेलवे की दूसरी अमृत भारत ट्रेन होगी।
तेज रफ्तार और आधुनिक तकनीक से लैस होगी ट्रेन
बता दें कि, अमृत भारत ट्रेन की गति क्षमता 130 किमी प्रति घंटे तक है। जिससे यह ट्रेन पारंपरिक प्रीमियम ट्रेनों से भी पहले गंतव्य स्टेशन तक पहुंचने में सक्षम होगी। सुरक्षा की दृष्टि से भी यह ट्रेन अत्याधुनिक है। सभी कोच सीसीटीवी कैमरों से लैस हैं जो यात्रियों को अतिरिक्त सुरक्षा प्रदान करेंगे। नई ट्रेन में पुश-पुल तकनीक वाली व्यवस्था होगी, यानी दोनों सिरों पर इंजन लगे होंगे। ट्रेन में कुल 22 कोच होंगे, जिनमें 8 स्लीपर, 11 जनरल, 1 पेंट्रीकार और 2 एसएलआरडी (रक्षा युक्त डिब्बे) शामिल हैं।
सहरसा से अमृतसर तक यात्रा होगी सुगम
अमृत भारत ट्रेन के परिचालन से अमृतसर तक यात्रा सुगम होगी। सहरसा से अमृतसर और वापसी की यात्रा अब पहले की तुलना में कम समय में पूरी की जा सकेगी। हालांकि ट्रेन का पूरा टाइम टेबल अभी जारी नहीं किया गया है। इससे कोसी क्षेत्र सहित अन्य इलाकों के लाखों यात्रियों को लाभ होगा। पहले इस ट्रेन को सहरसा से दिल्ली तक चलाने की योजना थी, लेकिन अब इसे अमृतसर तक विस्तारित किया गया है।
सहरसा स्टेशन पर तैयारी जोरों पर
ट्रेन के संचालन से पहले सहरसा स्टेशन पर वाशिंग पिट का विद्युतीकरण और अन्य जरूरी तैयारियां अंतिम चरण में हैं। शनिवार की सुबह 8:21 बजे ट्रेन सहरसा स्टेशन पहुंची जिसे 8:55 बजे सुपौल के लिए रवाना किया गया। इस दौरान ट्रेन को सिमरी बख्तियारपुर से सुपौल तक सहरसा के चालकों ने पहुंचाया। उनके साथ मुख्य लोको निरीक्षक जेके सिंह और स्टेशन अधीक्षक सुभाषचंद्र झा भी मौजूद थे। रेल मंत्रालय से जुड़े सूत्रों के अनुसार, यह सेवा कोसी क्षेत्र के लिए विकास की दिशा में एक अहम कदम होगी और क्षेत्रीय संपर्क को मजबूती प्रदान करेगी।
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